MuhAvarE_मुहावरे - उ, ऊ
मुहावरे भाषा को सुदृढ़, गतिशील और रुचिकर बनाते हैं। उनके प्रयोग से भाषा में चित्रमयता आती है, जैसे- अपने पैरों पर कुल्हाड़ी मारना, दाँतों तले उँगली दबाना, रंगा सियार होना। 'मुहावरा' अरबी भाषा का शब्द है जिसका अर्थ है बातचीत करना या उत्तर देना। कुछ लोग मुहावरे को 'रोज़मर्रा', 'बोलचाल', 'तर्ज़ेकलाम' या 'इस्तलाह' कहते हैं। यूनानी भाषा में 'मुहावरे' को 'ईडियोमा', फ्रेंच में 'इडियाटिस्मी' और अँगरेजी में 'इडिअम' कहते हैं।
उगल देना : रहस्य/भेद प्रकट कर देना।
पुलिस का डंडा पड़ते ही उसने सारा भेद उगल दिया।
पुलिस का डंडा पड़ते ही उसने सारा भेद उगल दिया।
उठते-बैठते : हर समय, सरलता से।
उठते-बैठते मैं चार-छ: रुपये पैदा कर लेता हूँ।
उठते-बैठते मैं चार-छ: रुपये पैदा कर लेता हूँ।
उड़ती चिड़िया पकड़ना : रहस्य की बात तत्काल जानना।
मैं उड़ती चिड़िया पहचानूं, उस चींटी की क्या हस्ती है? मुझे से ही भेद छिपाती है, देखो तो कैसी मस्ती है।
मैं उड़ती चिड़िया पहचानूं, उस चींटी की क्या हस्ती है? मुझे से ही भेद छिपाती है, देखो तो कैसी मस्ती है।
उड़न-छू हो जाना : चला जाना, गायब हो जाना।
एक दिन जो भी हाथ लगा वही लेकर वह उड़न-छू हो गई।
एक दिन जो भी हाथ लगा वही लेकर वह उड़न-छू हो गई।
उधेड़बुन में रहना : फिक्र में रहना, चिन्ता करना।
खाँ साहेब सदैव इसी उधेड़बुन में रहते थे कि इस शैतान को कैसे पंजे में लाऊँ।
खाँ साहेब सदैव इसी उधेड़बुन में रहते थे कि इस शैतान को कैसे पंजे में लाऊँ।
उम्र ढलना : यौवनावस्था का उतार।
उम्र ढलने के साथ बहुत से व्यक्ति गंभीर होने लगते हैं।
उम्र ढलने के साथ बहुत से व्यक्ति गंभीर होने लगते हैं।
उलटी-सीधी सुनाना : खरी खोटी सुनाना, डांटना-फटकारना।
लो, तुमने अब अकारण मुझे उलटी-सीधी सुनाना आरम्भ कर दिया है।
लो, तुमने अब अकारण मुझे उलटी-सीधी सुनाना आरम्भ कर दिया है।
उलटे छुरे से मूड़ना : किसी को उल्लू बनाकर उससे धन ऐंठना या अपना काम निकालना।
प्रयागराज में अगर मुंडन कराना है तो संगम तक जाने की जरूरत नहीं है, स्टेशन पर ही पंडे और मुस्तण्डे पुलिस वाले गरीब गाँव वालों को उलटे उस्तरे से मूंड देते हैं।
प्रयागराज में अगर मुंडन कराना है तो संगम तक जाने की जरूरत नहीं है, स्टेशन पर ही पंडे और मुस्तण्डे पुलिस वाले गरीब गाँव वालों को उलटे उस्तरे से मूंड देते हैं।
उलटे पाँव लौटना : तुरन्त बिना ठहरे हुए लौट जाना।
टीटू की अम्मा की बात सुनकर उसका मन हुआ था कि उलटे पैरों लौट जाए।
टीटू की अम्मा की बात सुनकर उसका मन हुआ था कि उलटे पैरों लौट जाए।
उल्लू का पट्ठा : निपट मूर्ख।
क्या उपयोगिता है बच्चो की? बुढ़ापे का सहारा? अंधे की लकड़ी? कौन बाप ऐसा उल्लू का पट्ठा है जो यह समझकर अपने बच्चे को प्यार करता है?
क्या उपयोगिता है बच्चो की? बुढ़ापे का सहारा? अंधे की लकड़ी? कौन बाप ऐसा उल्लू का पट्ठा है जो यह समझकर अपने बच्चे को प्यार करता है?
उंगली उठना : निन्दा होना, बदनामी होना।
आपको कोई ऐसा आचरण नहीं करना चाहिए जिससे असहाय अबला की ओर उंगली उठे।
आपको कोई ऐसा आचरण नहीं करना चाहिए जिससे असहाय अबला की ओर उंगली उठे।
उंगली पकड़कर पौंहचा पकड़ना : थोड़ा-सा सहारा पाकर विशेष की प्राप्ति के लिए प्रयास करना।
उंगलियों पर गिने जा सकना : संख्या में बहुत कम होना।
अब उनके नामलेवा उंगलियों पर गिने जा सकते हैं।
अब उनके नामलेवा उंगलियों पर गिने जा सकते हैं।
उंगलियों पर नचाना : इच्छानुसार काम कराना।
मैं इन दोनों को उंगलियों पर नचाऊंगा।
मैं इन दोनों को उंगलियों पर नचाऊंगा।
ऊँच-नीच समझाना : भलाई-बुराई, लाभ-हानि समझाना।
गज़नवी ने बहुत ऊँच-नीच सुझाया, लेकिन सलीम पर कोई असर नहीं हुआ।
गज़नवी ने बहुत ऊँच-नीच सुझाया, लेकिन सलीम पर कोई असर नहीं हुआ।
ऊँट के मुँह में जीरा : अधिक आवश्यकता वाले के लिए थोड़ा सामान।
एक लड्डू का तो मुझे कुछ पता ही नहीं चला। अच्छा लगने की वजह से वह बिल्कुल वैसे ही लगा जैसे ऊँच के मुँह में जीरा।
एक लड्डू का तो मुझे कुछ पता ही नहीं चला। अच्छा लगने की वजह से वह बिल्कुल वैसे ही लगा जैसे ऊँच के मुँह में जीरा।
ऊपर की आमदनी : इधर-उधर से फटकारी हुई नाजायज रकम।
उन्होंने परिश्रम करके कोई 250 रुपए ऊपर से कमाये थे।
उन्होंने परिश्रम करके कोई 250 रुपए ऊपर से कमाये थे।
ऊपरी मन से कुछ कहना : केवल दिखावे के लिए कुछ कहना। सच्चे हृदय से न कहना।
महेन्द्र कुमार ने ऊपरी मन से कहा- आपके आने की जरूरत नहीं है, मैं स्वयं भेज दूँगा।
महेन्द्र कुमार ने ऊपरी मन से कहा- आपके आने की जरूरत नहीं है, मैं स्वयं भेज दूँगा।
ऊलजलूल बकना : अंट-शंट बोलना, बातें करना।
मनोहर, तुम सठिया गए हो, तभी तो ऐसी ऊल-जलूल बातें करते हो।
मनोहर, तुम सठिया गए हो, तभी तो ऐसी ऊल-जलूल बातें करते हो।