Hin Dict_Aa4 - हिंदी शब्दकोश - आ4

आका (तु.) [सं-पु.] 1. स्वामी 2. मालिक।
आक़ा (तु.) [सं-पु.] उर्दू उच्चारणानुसार वर्तनी (दे. आका)।
आकार (सं.) [सं-पु.] 1. स्वरूप; बनावट; आकृति 2. मन का भाव बताने वाली शारीरिक चेष्टा 3. '' वर्ण या उसकी ध्वनि।
आकारांत (सं.) [वि.] वह शब्द जिसके अंत में '' स्वर हो, जैसे- कहा, सुना, खाया आदि।
आकारी (सं.) [वि.] 1. आकारवाला 2. आकृति का 3. शक्लवाला।
आकाश (सं.) [सं-पु.] 1. आसमान; नभ 2. शून्य 3. व्योम। [मु.] -पाताल एक करना : भरसक प्रयास करना। -से बातें करना : बहुत ऊँचा होना।
आकाशकुसुम (सं.) [सं-पु.] 1. आकाश में फूल खिलने की सी असंभव बात; असंभव कार्य 2. कल्पित या अनहोनी बात।
आकाशगंगा (सं.) [सं-स्त्री.] 1. छोटे-छोटे तारों का समूह जो रात को आकाश में उत्तर-दक्षिण में फैले एक छायापथ यानी चमकीली चौड़ी पट्टी के रूप में दिखाई देता है 2. पुराणों के अनुसार स्वर्ग की नदी; मंदाकिनी।
आकाशचारी (सं.) [वि.] आकाश में चलने-फिरने वाला; आकाशगामी (पक्षी, ग्रह आदि)।
आकाशदीप (सं.) [सं-पु.] ऊँचाई पर जलाया जाने वाला दीया; दिवाली के समय बाँस के सहारे टाँगी जाने वाली ऊँची कंदील।
आकाशबेल (सं.) [सं-स्त्री.] पेड़ों, झाड़ियों आदि के ऊपर होने वाली एक प्रकार की परजीवी बेल; अमरबेल।
आकाशयान (सं.) [सं-पु.] विमान; हवाईजहाज़।
आकाशवाणी (सं.) [सं-स्त्री.] 1. गगन से सुनाई पड़ने वाली वाणी 2. विशेष यंत्रों के द्वारा ध्वनि तरंगों के माध्यम से विविध कार्यक्रम प्रसारित करने वाली संस्था; (ऑल इंडिया रेडियो)।
आकाशवृत्ति (सं.) [सं-स्त्री.] 1. ऐसी आमदनी जो बँधी न हो या जिसका कोई ठिकाना न हो 2. अनिश्चित जीविका या वृत्ति।
आकीर्ण (सं.) [वि.] 1. व्याप्त 2. चारों तरफ़ फैला हुआ 3. भरा हुआ।
आकुंचन (सं.) [सं-पु.] 1. सिकुड़ना; सिमटना 2. सिकुड़ने से विस्तार में होने वाली कमी; संकोचन 3. टेढ़ा होना 4. (वैशेषिक दर्शन) पाँच प्रकार के कर्मों में से एक कर्म।
आकुंचित (सं.) [वि.] 1. सिकुड़ी; सिकुड़ा 2. घुँघराले (केश) 3. कुटिल।
आकुंठन (सं.) [सं-पु.] 1. कुंद होना; भोथरा होना 2. शर्म; लज्जा।
आकुंठित (सं.) [वि.] 1. लज्जित 2. कुंद; खुट्टल; भोथरा 3. जड़।
आकुल (सं.) [वि.] 1. व्यग्र; उतावला 2. विह्वल।
आकुलता (सं.) [सं-स्त्री.] 1. अकुलाहट; बेचैनी; विह्वलता; घबराहट 2. व्यग्रता; उद्विग्नता 3. उतावलापन 4. अव्यवस्था 5. व्याप्ति।
आकूत (सं.) [सं-पु.] 1. अभिप्राय; आशय 2. आश्चर्य 3. अनुभूति 4. उत्साह 5. प्रेरणा।
आकृत (सं.) [वि.] 1. आकार दिया हुआ; निर्मित; बनाया हुआ 2. क्रम से लगाया हुआ; व्यवस्थित।
आकृति (सं.) [सं-स्त्री.] ढाँचा; शक्ल; बनावट।
आकृष्ट (सं.) [वि.] 1. आकर्षित; खींचा हुआ 2. मुग्ध।
आक्रमण (सं.) [सं-पु.] 1. हमला; चढ़ाई; पास जाकर टूट पड़ना 2. अन्य राज्य की सीमा का उल्लंघन 3. छीनना 4. आक्षेप 5. प्रहार।
आक्रमणकारी (सं.) [वि.] आक्रमण करने वाला; योद्धा।
आक्रमणशील (सं.) [वि.] 1. आक्रामक स्वभाव का; लड़ाकू 2. उग्र।
आक्रमित (सं.) [वि.] 1. जिसपर आक्रमण या हमला हुआ हो 2. आक्रांत; पराक्रांत; लंघित।
आक्रांत (सं.) [वि.] 1. जिसपर आक्रमण हुआ हो; जिसपर हमला किया गया हो 2. पराभूत 3. वशीभूत; अभिभूत; ग्रस्त 4. सताया हुआ 5. व्याप्त।
आक्रांति (सं.) [सं-स्त्री.] 1. आक्रांत होने या रहने की अवस्था 2. उथल-पुथल 3. सताने या सताए जाने की क्रिया या भाव 4. दबाना; चाँपना 5. आरोहण।
आक्रामक (सं.) [वि.] आक्रमण करने वाला; आक्रमण करने की मुद्रा वाला।
आक्रुष्ट (सं.) [वि.] 1. जिसे कोसा गया हो; शापित 2. जिसे गाली दी गई हो। [सं-पु.] डाँट-फटकार।
आक्रोश (सं.) [सं-पु.] 1. क्रोध युक्त उत्तेजना या आवेश; कोसना 2. चीख-पुकार 3. शाप।
आक्रोशक (सं.) [वि.] 1. आक्रोश करने वाला; डाँटने फटकारने वाला 2. गाली देने वाला।

आक्रोशित (सं.) [वि.] 1. जो आक्रोश या क्रोध से भरा हो; क्रुद्ध; आक्रुष्ट 2. जिसपर क्रोध किया गया हो; जो कोसा गया हो 3. अभिशप्त। [सं-पु.] दुर्वचन; डाँट-फटकार।